डॉ. के.ए. पॉल ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ईरानी नेताओं को धमकी भरे बयान पर महाभियोग की मांग की

डॉ. के.ए. पॉल ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ईरानी नेताओं को धमकी भरे बयान पर महाभियोग की मांग की

ट्रंप के अमानवीय और धार्मिक मूल्यों के खिलाफ बयान पर 30 दिन का अल्टीमेटम, नहीं बदले तो शुरू होगी महाभियोग प्रक्रिया – डॉ. पॉल

नई दिल्ली, विश्व प्रसिद्ध नरेशवादी एवं शांति कार्यकर्ता डॉ. के.ए. पॉल ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के उस बयान की कड़ी आलोचना की, जिसमें उन्होंने ईरानी नेताओं को जान से मारने की धमकी दी थी। दिल्ली में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में डॉ. पॉल ने इसे न केवल अमानवीय बताया, बल्कि ईसाई धर्म के मूल सिद्धांतों के खिलाफ भी करार दिया। उन्होंने अमेरिका की संसद और सीनेट से ट्रंप के खिलाफ महाभियोग की प्रक्रिया आरंभ करने की मांग की।

डॉ. पॉल ने कहा कि ट्रंप का यह बयान, जिसमें उन्होंने ईरान के सर्वोच्च धार्मिक नेता ग्रैंड अयातुल्ला खामेनेई को जान बख्शने के बाद भी मारने की धमकी दी, पूरी तरह से अमानवीय और धार्मिक कलंक है। उन्होंने यह भी बताया कि ट्रंप ने अमेरिका के लोगों के विश्वास को तोड़ा है और विश्व शांति के प्रयासों को गंभीर नुकसान पहुंचाया है।

डॉ. पॉल ने अपनी 2020 में प्रकाशित पुस्तक ‘सेव अमेरिका एंड द वर्ल्ड फ्रॉम ट्रंप’ का हवाला देते हुए कहा कि पहले भी उन्होंने ट्रंप को हिंसा और नफरत फैलाने से रोकने की कोशिश की थी, लेकिन ट्रंप ने उनकी बात नहीं मानी।

उन्होंने यह भी कहा कि उन्होंने ईरान और इज़राइल के नेताओं से वार्ता की है, जिन्होंने आश्वासन दिया कि वे हथियारों के निर्माण में नहीं लगे हैं। ट्रंप द्वारा अमेरिका की खुफिया सूचनाओं को नजरअंदाज करना और पत्रकार जमाल खशोगी की हत्या के मामले में दोहरे मापदंड अपनाना भी डॉ. पॉल ने गंभीर विषय बताया।

डॉ. पॉल ने अमेरिका के संविधान का जिक्र करते हुए कहा कि कोई भी अमेरिकी राष्ट्रपति बिना संसद की अनुमति के युद्ध घोषित नहीं कर सकता। ट्रंप का यह रवैया न केवल संविधान का उल्लंघन है, बल्कि नैतिक रूप से भी अनुचित है। उन्होंने प्रमुख रिपब्लिकन नेताओं से अपील की कि वे राजनीतिक दबावों के बिना ट्रंप को जवाबदेह बनाएं।

डॉ. पॉल ने ट्रंप को 30 दिनों का अल्टीमेटम देते हुए कहा कि यदि वे अपनी भाषा और नीतियों में सुधार नहीं करते हैं तो महाभियोग प्रक्रिया शुरू की जाएगी और ईश्वर का न्याय होगा। उन्होंने कहा, “शांति हत्या से नहीं आती,” और बाइबल का हवाला देते हुए याद दिलाया, “थाउ शॉल्ट नॉट किल।”

डॉ. के.ए. पॉल ने अपने नैतिक कर्तव्य के तहत सभी से अपील की कि वे शांति और सद्भाव के लिए प्रार्थना करें और ट्रंप से विवेकपूर्ण परिवर्तन की उम्मीद रखें।

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